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अजनारा होम्स में जल संकट गहराया, लापरवाह मेंटेनेंस स्टाफ और गंदे टैंकों के विरोध में उठी आवाज !

नोएडा: ग्रेटर नोएडा के सेक्टर 16-बी स्थित अजनारा होम्स में रहने वाले लोगों को इन दिनों भीषण पानी की समस्या से जूझना पड़ रहा है। बीते कुछ दिनों से पानी की आपूर्ति लगातार बाधित है और सोमवार से स्थिति इतनी खराब हो चुकी है कि नलों में एक बूंद भी पानी नहीं आ रहा। इससे सोसाइटी के सैकड़ों परिवारों की दिनचर्या बुरी तरह प्रभावित हो रही है।

सोसायटी प्रबंधन पर 25 लाख रुपये का लगा जुर्माना 

अजनारा होम्स सोसायटी में गंदा पानी पीने से लोगों के बीमार पड़ने की शिकायतों को गंभीरता से लेते हुए ग्रेटर नोएडा औद्योगिक विकास प्राधिकरण ने सख्त कदम उठाया है। प्राधिकरण ने सोसायटी प्रबंधन पर 25 लाख रुपये का भारी जुर्माना लगाया है।

इस वजह से हुई पानी गुणवत्ता काफी खराब

स्थानीय निवासियों ने बताया कि सोसाइटी के अंडरग्राउंड टैंक कई महीनों से साफ नहीं किए गए हैं, जिससे पानी की गुणवत्ता काफी खराब हो चुकी है। कई बार शिकायत देने के बाद भी न सफाई की गई और न ही कोई ठोस कार्रवाई हुई। अब हालत ये है कि नहाना, खाना बनाना तो दूर, पीने का साफ पानी तक उपलब्ध नहीं है।

मेंटेनेंस टीम का गैर-जिम्मेदाराना रवैया

इस पूरे मामले को और गंभीर बना रही है मेंटेनेंस टीम की गैरहाज़िरी। निवासियों के अनुसार जब उन्होंने इस समस्या को लेकर संबंधित अधिकारियों से संपर्क करने की कोशिश की, तो कोई भी जवाब देने के लिए उपलब्ध नहीं था। न तो कॉल रिसीव किए जा रहे हैं और न ही ऑफिस में कोई मौजूद है।

नाराज़ लोगों ने किया विरोध प्रदर्शन 

नाराज़ होकर सोसाइटी के लोगों ने मंगलवार को सामूहिक रूप से परिसर में विरोध प्रदर्शन किया। प्रदर्शनकारियों का कहना है कि वे हर महीने नियमित रूप से मेंटेनेंस शुल्क अदा करते हैं, फिर भी जरूरी सुविधाओं के लिए उन्हें संघर्ष करना पड़ रहा है। एक निवासी ने कहा, “पानी जैसी बुनियादी चीज के लिए तरसना हमारी मजबूरी बन गई है।

निवासियों की प्रमुख मांगें:

पानी की सप्लाई अविलंब बहाल की जाए

टैंकों की जल्द सफाई कराई जाए

मेंटेनेंस टीम की जवाबदेही तय की जाए

इस लापरवाही की निष्पक्ष जांच कर कड़ी कार्रवाई की जाए

रहवासियों ने चेतावनी दी है कि अगर जल्द कोई हल नहीं निकला, तो वे प्रदर्शन को और बड़ा रूप देंगे। अब सबकी निगाहें सोसाइटी प्रशासन और स्थानीय प्राधिकरण पर टिकी हैं कि वे इस गंभीर समस्या का समाधान कब तक करते हैं।

Divya Gupta

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