कार्रवाईः स्वाथ्य विभाग में अधिकारियों पर गांज गिरनी शुरू, कई अधिकारी आए चपेट में
स्वास्थ्य विभाग में चिकित्साधिकारियों और अन्य के तबादले में अनियमिताएं बरतने का मामला
लखनऊ। स्वास्थ्य विभाग में स्थानांतरण नीति को ताक पर रखकर नियम विरुद्ध बड़े पैमाने पर किए गए चिकित्सकों एवं अन्य कर्मचारियों के स्थानांरण के मामले में संबंधित अधिकारियों पर गाज गिरनी शुरू हो गई है। सरकार जिन अधिकारियों के खिलाफ रिपोर्ट मिली है उनके खिलाफ लगातार करती जा रही है।
संयुक्त निदेशक आए चपेट में
राज्य सरकार स्वास्थ्य विभाग के संयुक्त निदेशक डॉ.बीकेएस चौहान के खिलाफ विभागीय कार्यवाही के आदेश दिए हैं। डॉ.चौहान स्वास्थ्य अधिकारियों के स्थानांतरण के लिए गठित समिति में शामिल थे। इनके खिलाफ विभागीय कार्यवाही के लिए अपर निदेशक चिकित्सा एवं स्वास्थ्य बस्ती मंडल को जांच अधिकारी नामित किया गया है।
सरकार को स्वास्थ्य विभाग में तबादलों में किए अनियमितताओं और भ्रष्टाचार की जांच मिलनी शुरू हो गई है। जैसे-जैसे जांच रिपोर्ट मिल रही है वैसे-वैसे दोषी अधिकारियों के खिलाफ कार्यवाही होती जा रही है।
महिला अधिकारी से स्पष्टीकरण तलब
पैरामेडिकल की निदेशक डॉ.निरुपमा दीक्षित से स्पष्टीकरण तलब किया गया है। उन्हें चेतावनी दी गई है कि सात दिनों में स्पष्टीकरण नहीं मिला तो उनके खिलाफ कठोर कार्यवाही की जाएगी। डॉ. निरुपमा दीक्षित पर 664 कर्मियों के तबादले के मामले में अनियमितता बरतने के आरोप हैं।
पूर्व स्वास्थ्य महानिदेशक के खिलाफ भी जांच
इनके अलावा पूर्व स्वास्थ्य महानिदेशक डॉ.वेदव्रत सिंह के खिलाफ भी जांच के आदेश दिए गए हैं। इनके खिलाफ भी चिकित्साधिकारों के स्थानांतरण में अनियमिताएं बरतने के आरोप हैं। इनके खिलाफ जांच के लिए चिकित्सा अनुभाग सात के सचिव को नामित किया गया है।
संयुक्त चिकित्सा निदेशक के खिलाफ जांच के आदेश
संयुक्त निदेशक चिकित्सा कार्मिक राजकुमार के खिलाफ भी विभागीय जांच के आदेश दिए गए हैं। इनके खिलाफ जांच के लिए अपर निदेशक चिकित्सा स्वास्थ्य परिवार कल्याण बस्ती मंडल को जांच अधिकारी नामित किया गया है। संयुक्त निदेशक कार्मिक सुधीर कुमार यादव के खिलाफ भी विभागीय जांच के आदेश दिए गए हैं। इनके खिलाफ जांच अपर निदेशक बस्ती मंडल करेंगे।