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आंदोलनः एफसीआई के कर्मचारियों ने किया आंचलिक कार्यालय पर प्रदर्शन

स्थानांतरण नीति के विरुद्ध ट्रांसफर करने और प्रबंधन पर वादा खिलाफ का आरोप

नोएडा। स्थानांतरण नीति के खिलाफ कर्मचारियों के ट्रांसफर का आरोप लगाकर भारतीय खाद्य निगम के सैकड़ों कर्मचारियों ने नोएडा के सेक्टर 24 स्थित उत्तर भारत के आंचलिक कार्यालय के बाहर प्रदर्शन किया। इस दौरान कर्मचारी निगम के उत्तर भारत के कार्यकारी निदेशक खिलाफ भी जमकर नारेबाजी की।

प्रदर्शन कर रहे भारतीय खाद्य निगम कर्मचारी संघ के जोनल सेक्रेटरी जितेंद्र कुमार ने बताया कि यह आंदोलन मुख्य रूप से भारतीय खाद्य निगम उत्तर भारत के कार्यकारी निदेशक के खिलाफ है।  कार्यकारी निदेशक आए दिन स्थानांतरण नीति को दरकिनार कर बेवजह कर्मचारियों का ट्रांसफर कर प्रताड़ित कर रहे हैं।

महिला कर्मचारियों के भी ट्रांसफर

सैकड़ों कर्मचारियों का एक राज्य से दूसरे राज्य ट्रांसफर कर दिया गया है। कार्यकारी निदेशक के आदेश के द्वारा महिला कर्मचारियों को भी भारी संख्या में ट्रांसफर किया गया है। यहां तक की स्पाउस ग्राउंड, मेडिकल ग्राउंड पर भी विचार नहीं किया गया है। यह प्रबंधन की तानाशाही रवैया को दर्शाता है।

निगम प्रबंधन पर वादे से मुकरने का आरोप

उन्होंने बताया कि निगम के कर्मचारियों ने कोरोना काल के दौरान अपनी जान की चिंता किए बिना पीएमजीकेवाई के तहत देश के करोड़ों गरीब परिवारों तक अनाज मुहैया कराया था।  इस दौरान निगम के कई कर्मचारियों और अधिकारियों ने अपनी जान गवां दी। इसके विपरीत प्रबंधन ने कोरोना काल में दिवंगत हुए कर्मचारियों के आश्रितों को अनुकंपा आधार पर नियुक्ति में वरीयता देने की बात कही थी, अब निगम अपने वादे से मुकर गया है। निगम कर्मचारियों के अच्छे काम के बदले उन्हें एसएल/टीएल की रिकवरी और ट्रांसफर आर्डर के नाम पर प्रताड़ित कर किया जा रहा है।

कर्मचारियों की ये हैं प्रमुख मांग

खाद्य निगम के कर्मचारियों का प्रदर्शन केवल ट्रांसफर को लेकर नहीं था बल्कि

उनकी कुछ और मांगें निगम के कार्यकारी निदेशक (उत्तर) से हैं।  कर्मचारियों के मुख्य मांग है कि ट्रांसफर आर्डर को तत्काल निरस्त किया जाए। नॉर्थ जोन में नया कार्यकारी निदेशक उत्तर को पूर्ण प्रभार के साथ नियुक्त किया जाए।  एसएल/टीएल रिकवरी बंद किया जाए और अनुकंपा के आधार पर नियुक्ति में कोरोना काल में अपनी जान गवां चुके कर्मचारियों के परिजनों को वरीयता दिया जाए।

कर्मचारियों की निगम प्रबंधन को चेतावनी

कर्मचारियों ने चेतावनी दी है कि संघ का कहना है कि अगर हमारी मांगे नहीं मानी गई तो हम भारतीय खाद्य निगम के मुख्यालय के बाहर दिल्ली में भी प्रदर्शन करेंगे। ये आंदोलन तब तक जारी रहेगा जब तक कर्मचारी संघ की बात नही मानी जाती। कर्मचारी संघ ने आंदोलन में नियमानुसार कार्य (वर्क ऐज पर रूल) भी शामिल करने की बात कही है। बड़ी बात ये है कि अगर आंदोलन बड़ा होता है तो भविष्य में देश में खाद्यान्न संकट को नकारा नही जा सकता है।

Prahlad Verma

उत्तर प्रदेश के मऊनाथ भंजन के कोपागंज कस्बे में जन्म। स्नातक और स्नातकोत्तर की शिक्षा फैजाबाद (अब अयोध्या) से हासिल करने के बाद वर्ष 1982 से स्तंभकार के तौर पत्रकारिता की शुरुआत। पत्रकारीय यात्रा हिन्दी दैनिक जनमोर्चा से शुरू होकर, नये लोग, सान्ध्य दैनिक प्रतिदिन, स्वतंत्र चेतना, कुबेर टाइम्स, अमर उजाला और विभिन्न क्षेत्रीय और राष्ट्रीय अखबारों से होते हुए दैनिक जागरण पर जाकर रुकी। दैनिक जागरण से ही 15 जनवरी 2021 को सेवानिवृत्त। इसके बाद क्षेत्रीय से लेकर राष्ट्रीय स्तर के विभिन्न समाचार पत्रों में निर्वाध रूप से लेखन जारी। अब फेडरल भारत डिजीटल मीडिया में संपादक के रूप में द्वितीय दौर की पत्रकारिता का दौर जारी।

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Prahlad Verma

उत्तर प्रदेश के मऊनाथ भंजन के कोपागंज कस्बे में जन्म। स्नातक और स्नातकोत्तर की शिक्षा फैजाबाद (अब अयोध्या) से हासिल करने के बाद वर्ष 1982 से स्तंभकार के तौर पत्रकारिता की शुरुआत। पत्रकारीय यात्रा हिन्दी दैनिक जनमोर्चा से शुरू होकर, नये लोग, सान्ध्य दैनिक प्रतिदिन, स्वतंत्र चेतना, कुबेर टाइम्स, अमर उजाला और विभिन्न क्षेत्रीय और राष्ट्रीय अखबारों से होते हुए दैनिक जागरण पर जाकर रुकी। दैनिक जागरण से ही 15 जनवरी 2021 को सेवानिवृत्त। इसके बाद क्षेत्रीय से लेकर राष्ट्रीय स्तर के विभिन्न समाचार पत्रों में निर्वाध रूप से लेखन जारी। अब फेडरल भारत डिजीटल मीडिया में संपादक के रूप में द्वितीय दौर की पत्रकारिता का दौर जारी।

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