अस्पताल खाली कराने बुलडोज़र लेकर पहुंची निगम की टीम, विरोध में उतरे भजपा विधायक और आईएमए
नगर निगम की टीम पंडित धर्म दत्त शर्मा धर्मार्थ ट्रस्ट के धर्मदत्त सिटी हॉस्पिटल को खाली कराने पहुंची गई तब वहाँ जमकर बवाल हुआ। जिसमें अस्पताल प्रबंधन ने नगर निगम की इस करवाई का विरोध करते हुए कहा कि मामला अदालत में विचाराधीन है। इसलिए बिना कानूनी नोटिस के अस्पताल को किसी हालत में खाली नहीं कराया जा सकता है। अस्पताल पर कार्रवाई के लिए मौके पुलिस के साथ पहुंचे निगम के अफसरों ने अस्पताल के गेट के ताले तोड़कर अंदर जाने की कोशिश की तो अस्पताल स्टाफ विरोध में आ गया। निगम कर्मचारी ने गेट में बंधी जंजीर काटने की कोशिश की तो हॉस्पिटल के संचालक डा. अनुपम शर्मा समेत सभी कर्मचारियों ने विरोध किया
फेडरल भारत डेस्क :बवाल होने की सूचना होने पर आईएमए पदाधिकारियों के साथ साथ नगर विधायक डॉ अरुण कुमार, मेयर उमेश गौतम समेत भजपा के कई वरिष्ठ नेता अस्पताल के समर्थन में आ गए। विधायक और मेयर के हस्तक्षेप के बाद नगर निगम की टीम ढीली हो गई । परन्तु देर शाम तक हॉस्पिटल के बाहर पुलिस और अला अधिकारियों हुजूम लगा रहा.आपको बता दें धर्मदत्त सिटी अस्पताल प्रबंधन ने रविवार को नगर निगम की टीम को अस्पताल में ही बंद कर लिया। टीम अस्पताल के द्वारा सील तोड़े जाने की सूचना मिलते ही पहुंची थी। वहाँ पहुंची टीम को कैद करने की खबर मिलने पर नगर निगम में हड़कंप मच गया। टीम को अस्पताल से मुक्त कराने के लिए नगर निगम का एक दल मौके पर पहुंचा, पर अस्पताल स्टाफ ने उसे अंदर जाने ही नहीं दिया। बाद में मौके पर पहुंचे अपर नगर आयुक्त और पुलिस बल ने अस्पताल गेट का खुलवाकर टीम को छुड़वाया।
हॉस्पिटल प्रबंधन के अनुसार यह जमीन बीडीए की है। इसका अस्पताल वालो ने निर्धारित किया हुआ शुल्क भी जमा किया हुआ है। केस अभी निचली अदालत में चल रहा है। इसके बावजूद भी निगम जबर्दस्ती हॉस्पिटल की जमीन पर अपना दावा करते हुए इसे खाली कराने पर उतारू है। निगम के कुछ अधिकारी बीते शनिवार को अस्पताल खाली करवाने पहुंचे थे।
इसी दौरान आईएमए के अध्यक्ष डॉ. मनोज अग्रवाल सहित बड़ी संख्या में डॉक्टर भी पहुंचे और निगम द्वारा की कार्रवाई का विरोध करते हुए अस्पताल को समर्थन देने की बात कही। शहर विधायक डॉ. अरुण कुमार और मेयर डॉ. उमेश गौतम भी अस्पताल के समर्थन में मौके पर पहुंच गए।
नगर निगम की टीम पंडित धर्म दत्त शर्मा धर्मार्थ ट्रस्ट के धर्मदत्त सिटी हॉस्पिटल को खाली कराने पहुंची गई तब वहाँ जमकर बवाल हुआ। जिसमें अस्पताल प्रबंधन ने नगर निगम की इस करवाई का विरोध करते हुए कहा कि मामला अदालत में विचाराधीन है। इसलिए बिना कानूनी नोटिस के अस्पताल को किसी हालत में खाली नहीं कराया जा सकता है।
अस्पताल पर कार्रवाई के लिए मौके पुलिस के साथ पहुंचे निगम के अफसरों ने अस्पताल के गेट के ताले तोड़कर अंदर जाने की कोशिश की तो अस्पताल स्टाफ विरोध में आ गया। निगम कर्मचारी ने गेट में बंधी जंजीर काटने की कोशिश की तो हॉस्पिटल के संचालक डा. अनुपम शर्मा समेत सभी कर्मचारियों ने विरोध किया