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दो सगी बहनों को मारकर फांसी से लटकाने का मामलाः दुष्कर्म के बाद गला दबाकर हत्या की हुई पुष्टि

निघासन में दलित परिवार की नाबालिक बहनों को लटका दिया गया था फांसी, सभी छह आरोपी गिरफ्तार, एक मुठभेड़ में घायल

लखीमपुर खीरी। लखीमपुर खीरी जिले के निघासन में दो बहनों की हत्या मामले में बृहस्पतिवार को पुलिस ने जानकारी दी है कि इस मामले में छह लोगों को गिरफ्तार किया गया है। उन्होंने ने घटना को अंजाम दिया था।

एसपी ने की प्रेस कांफ्रेंस

यहां पुलिस अधीक्षक संजीव सुमन ने मीडिया कर्मियों को बताया कि दोनों बहनों से दुष्कर्म के बाद हत्या की घटना को छह लोगों ने अंजाम दिया था। इस मामले में नामजद छोटू सहित छह आरोपी गिरफ्तार किए गए हैं। उनकी पहचान छोटू, सुहेल, जुनैद, हफीजुल्लाह, करीमुद्दीन और आरिफ के रूप में हुई है। पुलिस ने एक आरोपी जुनैद को झंडी चौकी क्षेत्र में मुठभेड़ के बाद गिरफ्तार किया है। मुठभेड़ के दौरान  जुनैद के पैर में गोली लगी है। उसे घायल अवस्था में गिरफ्तार किया गया है और पुलिस हिरासत में इलाज के लिए अस्पताल में भर्ती कराया गया है। उन्होंने बताया कि दोनों बहनें नाबालिग हैं। उनके शवों का तीन डाक्टरों के पैनल से कराया गया है। पोस्टमार्टम रिपोर्ट में दुष्कर्म और गला दबाकर हत्या की हुई पुष्टि है। उन्होंने बताया कि पॉक्सो सहित विभिन्न आपराधिक धाराओं के तहत मुकदमा दर्ज किया गया है।

बहला-फुसलाकर दोनों को ले गए थे खेत में
एसपी ने बताया कि आरोपी लड़कियों को बहला-फुसलाकर खेत में ले गए थे। पकड़े गए सभी आरोपी आपस में दोस्त हैं। मुख्य आरोपी छोटे मौके पर मौजूद नहीं था।

दुष्कर्म की बात कबूले

एसपी ने बताया कि सुहेल और जुनैद ने पूछताछ में दुष्कर्म की बात कबूल की है। मुख्य साजिशकर्ता गांव के छोटू ने ही किशोरियों से इनकी दोस्ती कराई थी। लेकिन बुधवार को आरोपी बहला फुसलाकर दोनों लड़कियों को खेत में ले गए और वहीं दुष्कर्म की घटना को अंजाम दिया। पोस्टमार्टम परिवार वालों की मौजूदगी में कराया गया है। इसकी वीडियोग्राफी भी कराई गई है। उन्होंने कहा कि आरोपियों के कपड़ों का और उनका डीएनए टेस्ट भी कराया जाएगा।

क्या है मामला

लखीमपुर खीरी जिले के निघासन थाना क्षेत्र के एक गांव में बुधवार की शाम लगभग छह बजे अनुसूचित जाति की नाबालिकग दो सगी बहनों के शव पेड़ से लटके मिले थे। उनकी मां का कहना था कि शाम करीब पांच बजे उनके सामने ही एक पड़ोसी और तीन अन्य लोग दोनों बेटियों को अगवा कर ले गए थे। घटना से गुस्साए परिजनों ने ग्रामीणों के साथ सदर चौराहे पर जाम लगा दिया था।

आई ने दिलाया भरोसा, तब जाम समाप्त हुआ

बुधवार की देर शाम आईजी लक्ष्मी सिंह ने आरोपियों पर कार्रवाई का भरोसा दिलाया था। तब जाम समाप्त हुआ था। मां के मुताबिक दोनों नाबालिग बेटियां घर के बाहर लगी मशीन पर चारा काटने गईं थीं। शाम करीब पांच बजे पड़ोसी गांव के तीन युवक मोटर साइकिल से आए और दोनों को जबरन मोटर साइकिल पर बैठाकर भागने लगे। मां ने शोर मचाते हुए उनका पीछा भी किया लेकिन वे उन्हें धक्का देकर भाग गए। शोर सुनकर गांव वाले इकट्ठा हो गए थे और आरोपियों की तलाश शुरू कर दी थी। करीब एक घंटे बाद गांव के ही एक व्यक्ति के खेत में उनका शव खैर के पेड़ से लटका मिला था।

 

परिजनों को सौंपे गए शव

अपर पुलिस महानिदेशक कानून व्यवस्था प्रशांत कुमार ने एक बयान में कहा कि मां की तहरीर पर मुकदमा दर्ज किया जा चुका है। दोनों बहनों के शव परिजनों को सौंप दिए गए हैं। परिजन अंतिम संस्कार रीति रिवाज से करेंगे।

कठोर कार्रवाई करेगी सरकार

उधर, उप्र के उप मुख्यमंत्री ब्रजेश पाठक ने कहा कि लखीमपुर की घटना बहुत ही दुखःद है। सरकार ने मामले को गंभीरता से लिया है। सरकार सीधे नज़र बनाए हुए थी। लखीमपुर की घटना का पर्दाफाश हो गया है। इस मामले में सरकार ऐसी कार्रवाई करेगी कि इन अभियुक्तों की आने वाली पीढ़ियों के रूह कांपेंगे। सरकार पीड़ित परिवार के साथ है। हर स्थिति में उन्हें न्याय मिलेगा। मामले को हम फास्ट ट्रैक कोर्ट में ले जाएगें और शीघ्र से शीघ्र सजा दिलाई जाएगी।

Prahlad Verma

उत्तर प्रदेश के मऊनाथ भंजन के कोपागंज कस्बे में जन्म। स्नातक और स्नातकोत्तर की शिक्षा फैजाबाद (अब अयोध्या) से हासिल करने के बाद वर्ष 1982 से स्तंभकार के तौर पत्रकारिता की शुरुआत। पत्रकारीय यात्रा हिन्दी दैनिक जनमोर्चा से शुरू होकर, नये लोग, सान्ध्य दैनिक प्रतिदिन, स्वतंत्र चेतना, कुबेर टाइम्स, अमर उजाला और विभिन्न क्षेत्रीय और राष्ट्रीय अखबारों से होते हुए दैनिक जागरण पर जाकर रुकी। दैनिक जागरण से ही 15 जनवरी 2021 को सेवानिवृत्त। इसके बाद क्षेत्रीय से लेकर राष्ट्रीय स्तर के विभिन्न समाचार पत्रों में निर्वाध रूप से लेखन जारी। अब फेडरल भारत डिजीटल मीडिया में संपादक के रूप में द्वितीय दौर की पत्रकारिता का दौर जारी।

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उत्तर प्रदेश के मऊनाथ भंजन के कोपागंज कस्बे में जन्म। स्नातक और स्नातकोत्तर की शिक्षा फैजाबाद (अब अयोध्या) से हासिल करने के बाद वर्ष 1982 से स्तंभकार के तौर पत्रकारिता की शुरुआत। पत्रकारीय यात्रा हिन्दी दैनिक जनमोर्चा से शुरू होकर, नये लोग, सान्ध्य दैनिक प्रतिदिन, स्वतंत्र चेतना, कुबेर टाइम्स, अमर उजाला और विभिन्न क्षेत्रीय और राष्ट्रीय अखबारों से होते हुए दैनिक जागरण पर जाकर रुकी। दैनिक जागरण से ही 15 जनवरी 2021 को सेवानिवृत्त। इसके बाद क्षेत्रीय से लेकर राष्ट्रीय स्तर के विभिन्न समाचार पत्रों में निर्वाध रूप से लेखन जारी। अब फेडरल भारत डिजीटल मीडिया में संपादक के रूप में द्वितीय दौर की पत्रकारिता का दौर जारी।

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