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चेतावनीः चार घंटे की बैठक में भी नहीं निकला कोई नतीजा, भाकियू दी चेतावनी अब लखनऊ कूच करेंगे किसान

क्या है मामला, किस बात को लेकर हुई बैठक, किस-किस विभाग के अधिकारी थे शामिल, क्या दिया गया किसानों को आश्वासन

ग्रेटर नोएडा। भारतीय किसान यूनियन के आवाह्न पर यहां जीरो प्वाइंट पर महापंचायत कर रहे किसान नेताओं और विभिन्न विभागों के अधिकारियों के बीच चार घंटे तक मैराथन बैठक हुई। इस बैठक का कोई नतीजा नहीं निकला। अधिकारियों ने विभिन्न विभागों से बातचीत कराने के लिए 20 नवंबर तक का समय दिया है। बैठक के लिए विभागवार तारीख भी तय कर दी गई है। इस बीच भाकियू पश्चिमी उत्तर प्रदेश के अध्यक्ष पवन खटाना ने चेतावनी दी है कि निर्धारित तारीख तक समस्याओं का समाधान नहीं हुआ तो किसान लखनऊ कूच करेंगे।

किस विभाग के अधिकारियों के साथ थी बैठक

भारतीय किसान यूनियन के नेताओं के साथ हुई बैठक में तीनों विकास प्राधिकरणों (नोएडा, ग्रेटर नोएडा व यमुना एक्सप्रेस-वे औद्योगिक विकास प्राधिकरण) के ओएसडी, एडीएम प्रशासन, एडीएमएलए, यूपीपीसीएल, चीफ एनपीसीएल के सीनियर अधिकारी, विकास भवन के सीनियर अधिकारियों से चार घंटे तक बैठक हुई। बैठक में हुई वार्ता का कोई नतीजा नहीं निकला। इस पर संबंधित अधिकारियों ने 20 नवंबर तक संबंधित विभागों से संबंधित किसानों के समाधान के लिए हर विभाग में अलग-अलग वार्ता कराएंगे। इसके लिए तारीख निर्धारित कर दी गई है।

ये निर्धारित हुई तारीख

संबंधित विभागों के अधिकारियों से होने वाली बैठक में जो तारीख निर्धारित की गई है उसके अनुसार 9 नवंबर को एनपीसीएल कार्यालाय, 10 नवंबर को यूपीपीसीएल, 11 नवंबर को एडी एमएलए के साथ, 16 नवंबर को नोएडा विकास प्राधिकरण, 17 नवंबर को ग्रेटर नोएडा विकास प्राधिकरण, 18 नवंबर को विकास भवन के अधिकारियों एवं जिला अधिकारी, 19 नवंबर को यमुना एक्सप्रेस-वे औद्योगिक विकस प्राधिकरण और 20 नवंबर को बीच तीनों प्राधिकरणों के चेयरमैन के साथ जिलाधिकारी की मौजूदगी में सामूहिक वार्ता होगी। इसमें सभी समस्याओं का समाधान कराने का प्रयास किया जाएगा। इसके लिए 20 नवंबर तक का समय तय किया गया है।

भाकियू की चेतावनी

उधर, भाकियू के पश्चिमी उत्तर प्रदेश के अध्यक्ष पवन खटाना ने संबंधित विभागों के अधिकारियों और प्रशासन को चेतावनी दी है कि अगर 20 नवंबर तक किसानों की समस्याओं का समाधान नहीं हुआ तो जिले भर के किसान लखनऊ के लिए कूच करेंगे।

ये लोग थे मौजूद

इस मौके पर सुभाष चौधरी, राजीव मलिक, राजे प्रधान, संजू मोर्ना, अजब सिंह, सुनील प्रधान, गजेंद्र सिंह, सुभाष चौधरी, महेश खटाना, संदीप खटाना, सुंदर खटाना, भगत सिंह, विपिन तवर, योगेश भाटी, विनोद शर्मा, अंकुर शर्मा, दीपक शर्मा, अमित कसाना, मोहित कसाना, सुरेंद्र सिंह नागर, मनु नागर, धर्मपाल, सूरज नागर, महाराज सिंह, रामवीर, बुद्धन भाटी, मनोज शर्मा, देवेंद्र आर्य, अजीत सिंह, अजी नंबरदार, महेश पंडित जी, सचिन, ब्रहम सिंह, ललित चौहान, पवन चौहान, सतवीर चौहान, जितेंद्र चौहान, अंकित चौहान, भगवानदास, राजेश चौहान, विकास चौहान, सचिन चौहान, सुमेरा, मास्टर मेहर चंद, रवींद्र सिंह, दुर्गा प्रसाद, ओमवीर सिंह, देवीराम, बिल्लू चौधरी, रहीस, रवि बैंसला, गोपाल शर्मा, बलराज, सूरज, धर्मपाल स्वामी, जगदीश कुमार, देवी राम प्रधान, तारा चंद, अशोक कुमार, विनोद कुमार, दुर्गेश कुमार, बृजेश कुमार, लक्ष्मीकांत, धीर सिंह, बचन सिंह, चंद्रपाल, विजयपाल, दीपक, राहुल, विनोद सैनी, वीर सिंह आजाद, प्रमोद, अजब सिंह, राहुल, रोहित, ओमवीर, भर्ती, अरुण, राजमल सिंह, नीरज कसाना, यस कसाना, वीरेंद्र कसाना, मांगेराम, राशि प्रधान, भीम सिंह, गौतम सिंह, भुवनेश कुमार, हर्ष कुमार, राहुल, पप्पी बैसला, जितने बैसला, तेजपाल बैंसला, सुरेंद्र खारी, संतलाल खारी, धर्मवीर बैंसला, सुरेंदर, इरफान, बाबू, पंकज शर्मा, कुलदीप शर्मा, राजकुमार शर्मा, दीन मोहम्मद पवार, शाकिर, सैफी, नबी मोहम्मद, सत्तन अफसर खान, जावेद सिद्धकी, कामिल मोहम्मद खान, हबीब सैफी, अभिषेक, आकाश, कैलाश, गजेंद्र चौधरी, विकास डाटा, अमित डाटा, जगत प्रधान, रोहतास चपराना, सचिन कसाना, सतीश चपराना, संदीप चपराना, रोहित, सतवीर, सूरज, महेश चपराना, सुंदर बाबा समेत हजारों किसान मौजूद रहे।

Prahlad Verma

उत्तर प्रदेश के मऊनाथ भंजन के कोपागंज कस्बे में जन्म। स्नातक और स्नातकोत्तर की शिक्षा फैजाबाद (अब अयोध्या) से हासिल करने के बाद वर्ष 1982 से स्तंभकार के तौर पत्रकारिता की शुरुआत। पत्रकारीय यात्रा हिन्दी दैनिक जनमोर्चा से शुरू होकर, नये लोग, सान्ध्य दैनिक प्रतिदिन, स्वतंत्र चेतना, कुबेर टाइम्स, अमर उजाला और विभिन्न क्षेत्रीय और राष्ट्रीय अखबारों से होते हुए दैनिक जागरण पर जाकर रुकी। दैनिक जागरण से ही 15 जनवरी 2021 को सेवानिवृत्त। इसके बाद क्षेत्रीय से लेकर राष्ट्रीय स्तर के विभिन्न समाचार पत्रों में निर्वाध रूप से लेखन जारी। अब फेडरल भारत डिजीटल मीडिया में संपादक के रूप में द्वितीय दौर की पत्रकारिता का दौर जारी।

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Prahlad Verma

उत्तर प्रदेश के मऊनाथ भंजन के कोपागंज कस्बे में जन्म। स्नातक और स्नातकोत्तर की शिक्षा फैजाबाद (अब अयोध्या) से हासिल करने के बाद वर्ष 1982 से स्तंभकार के तौर पत्रकारिता की शुरुआत। पत्रकारीय यात्रा हिन्दी दैनिक जनमोर्चा से शुरू होकर, नये लोग, सान्ध्य दैनिक प्रतिदिन, स्वतंत्र चेतना, कुबेर टाइम्स, अमर उजाला और विभिन्न क्षेत्रीय और राष्ट्रीय अखबारों से होते हुए दैनिक जागरण पर जाकर रुकी। दैनिक जागरण से ही 15 जनवरी 2021 को सेवानिवृत्त। इसके बाद क्षेत्रीय से लेकर राष्ट्रीय स्तर के विभिन्न समाचार पत्रों में निर्वाध रूप से लेखन जारी। अब फेडरल भारत डिजीटल मीडिया में संपादक के रूप में द्वितीय दौर की पत्रकारिता का दौर जारी।

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