उत्तर प्रदेशनोएडा

कैट ने सरकार को 18 बिंदुओं में भेजे सुझाव, बजट में इनको लागू करने की माँग

नोएडा: आगामी बजट 2023-2024 के लिये कंफेडरेशन आफ आल इंडिया ट्रेडर्स ने सरकार को माँग पत्र भेजा है। मार्केट एसोसिएशन नोएडा एवं संयोजक कंफेडरेशन आफ आल इंडिया ट्रेडर्स दिल्ली एनसीआर सेक्टर 18 अध्यक्ष सुशील कुमार जैन ने कहा कि भारत सरकार के आगामी बजट 2023-2024 से व्यापारियों को बहुत उम्मीदें हैं। पेश किये गये आर्थिक सर्वेक्षण से भारत की विकास दर जी डी पी 7% के पास रहने की उम्मीद है। इस बार के बजट से मध्यम एवं छोटे व्यापारियों को एवं मध्यमवर्गीय परिवारों को अघिक लाभ एवं आयकर मे अच्छी छूट की उम्मीद है।

कैट ने 18 बिंदुओं में भेजे सुझाव

1. जीएसटी कर प्रणाली की नए सिरे से पूर्ण समीक्षा की जाये।
2. आयकर की कर दरों में कमी करने की घोषणा हो।
3. रिटेल व्यापार पर लागू सभी कानूनों और नियमों की पूर्ण समीक्षा की जाये।
4. एक राष्ट्र -एक कर की तर्ज़ पर एक राष्ट्र-एक लाइसेंस नीति बनाई जाये।
5. व्यापारियों के लिए प्रभावी पेंशन योजना बनाई जाये।
6. उत्तर प्रदेश राज्य की तर्ज़ पर व्यापारियों के लिए बीमा योजना बनाई जाये।
7. छोटे व्यवसायों के लिए अलग क्रेडिट रेटिंग मानदंड हो।
8. बैंकों और अन्य वित्तीय संस्थानों द्वारा व्यापारियों को आसानी से क़र्ज़ मिल जाये।
9. नॉन बैंकिंग फाइनेंस कम्पनीज एवं माइक्रो फाइनेंस इंस्टीटूशन्स द्वारा व्यापारियों को क़र्ज़ दिलाने के लिए सक्षम बनाना जाय।
10. व्यापारियों में आपसी भुगतान तथा आयकर अधिनियम की धारा 138 के तहत चेक बाउंस जैसे विवादों के लिए फास्ट ट्रैक कोर्ट का गठन किया जाये।
11. स्पेशल इकनोमिक जोन की तर्ज़ पर गाँवों के निकट स्पेशल ट्रेड जोन के निर्माण की घोषणा की जाये।
12. आंतरिक और विदेशी व्यापार दोनों को बढ़ावा देने के लिए देश और दुनिया भर में व्यापार मेलों और भारतीय उत्पादों की प्रदर्शनियों काआयोजन किया जाये।
13. व्यापारिक समुदाय के बीच डिजिटल भुगतान को अपनाने और प्रोत्साहित करने के लिए अलग अलग किस्म के इंसेंटिव की घोषणा की जाये।
14. उपभोक्ता क़ानून के अंतर्गत ई-कॉमर्स नियमों को तुरंत लागू करे।
15. ई-कॉमर्स नीति की तुरंत घोषणा हो।
16. ई-कॉमर्स के लिए एक रेगुलेटरी अथॉरिटी के गठन की घोषणा की जाये।
17. रिटेल व्यापार के लिए एक राष्ट्रीय व्यापार नीति की घोषणा की जाये।
18. केंद्र और राज्यों दोनों में आंतरिक व्यापार के लिए एक अलग मंत्रालय की घोषणा हो।

 

 

Monika Singh

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