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उत्तर प्रदेशदिल्लीवाराणसी

ज्ञानवापी मामला जिला जज की कोर्ट में स्थानांतरित

शीर्ष अदालत ने कहा, जिला जज को 25 वर्षों का है अनुभव

नई दिल्ली। वाराणसी के ज्ञानवापी मामले में सुप्रीम कोर्ट में सुनवाई हुई। सुप्रीम कोर्ट ने ज्ञानवापी मस्जिद मामले को वाराणसी की सिविल कोर्ट से जिला जज की अदालत में स्थानांतरित कर दिया है। सुप्रीम कोर्ट ने शुक्रवार दोपहर में सुनवाई के दौरान कहा कि यह बेहद संवेदनशील मामला है। अदालत ने दोनों पक्षों की दलीलें सुनने के बाद कहा कि मामले को उत्तर प्रदेश न्यायिक सेवा के वरिष्ठ और अनुभवी न्यायिक अधिकारी सुनें। अदालत ने कहा कि उसका आदेश अगले आठ हफ्ते तक प्रभावी रहेगा। सुप्रीम कोर्ट ने वाराणसी के जिलाधिकारी को मस्जिद में वजू की व्‍यवस्‍था भी करने के आदेश दिए।

ज्ञानवापी मस्जिद मामले को वाराणसी सिविल कोर्ट से जिला जज की अदालत में स्थानातंरित करते हुए सुप्रीम कोर्ट ने कहा कि अंतरिम आदेश जारी रहेगा। मामला जिला जज के पास भेजा जाए। जिला जज को सुनवाई के लिए शीर्ष अदालत ने कहा। सुप्रीम कोर्ट ने कहा कि जिला जज को 25 साल का अनुभव है। मुस्लिम पक्ष की अर्जी को जिला जज निपटाएं। पहले दिया गया आदेश जारी रहेगा। कमीशन की रिपोर्ट लीक नहीं करना चाहिए। रिपोर्ट सीधे कोर्ट में पेश होनी चाहिए।

Prahlad Verma

उत्तर प्रदेश के मऊनाथ भंजन के कोपागंज कस्बे में जन्म। स्नातक और स्नातकोत्तर की शिक्षा फैजाबाद (अब अयोध्या) से हासिल करने के बाद वर्ष 1982 से स्तंभकार के तौर पत्रकारिता की शुरुआत। पत्रकारीय यात्रा हिन्दी दैनिक जनमोर्चा से शुरू होकर, नये लोग, सान्ध्य दैनिक प्रतिदिन, स्वतंत्र चेतना, कुबेर टाइम्स, अमर उजाला और विभिन्न क्षेत्रीय और राष्ट्रीय अखबारों से होते हुए दैनिक जागरण पर जाकर रुकी। दैनिक जागरण से ही 15 जनवरी 2021 को सेवानिवृत्त। इसके बाद क्षेत्रीय से लेकर राष्ट्रीय स्तर के विभिन्न समाचार पत्रों में निर्वाध रूप से लेखन जारी। अब फेडरल भारत डिजीटल मीडिया में संपादक के रूप में द्वितीय दौर की पत्रकारिता का दौर जारी।

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Prahlad Verma

उत्तर प्रदेश के मऊनाथ भंजन के कोपागंज कस्बे में जन्म। स्नातक और स्नातकोत्तर की शिक्षा फैजाबाद (अब अयोध्या) से हासिल करने के बाद वर्ष 1982 से स्तंभकार के तौर पत्रकारिता की शुरुआत। पत्रकारीय यात्रा हिन्दी दैनिक जनमोर्चा से शुरू होकर, नये लोग, सान्ध्य दैनिक प्रतिदिन, स्वतंत्र चेतना, कुबेर टाइम्स, अमर उजाला और विभिन्न क्षेत्रीय और राष्ट्रीय अखबारों से होते हुए दैनिक जागरण पर जाकर रुकी। दैनिक जागरण से ही 15 जनवरी 2021 को सेवानिवृत्त। इसके बाद क्षेत्रीय से लेकर राष्ट्रीय स्तर के विभिन्न समाचार पत्रों में निर्वाध रूप से लेखन जारी। अब फेडरल भारत डिजीटल मीडिया में संपादक के रूप में द्वितीय दौर की पत्रकारिता का दौर जारी।

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